बागेश्वर धाम बालाजी मंदिर के लिए प्रसिद्ध है, जो की मध्यप्रदेश के छतरपुर में खजुराहो पन्ना रोड पर स्थित है। इस मंदिर में दरबार प्रति मंगलवार शनिवार को लगता है। मान्यता है की यहाँ बालाजी भक्तों की अर्जी एक पर्ची के माध्यम से सुनते है, और उनकी समस्याओ का समाधान पंडित धीरेन्द्र शास्त्री के माध्यम से कराते है। इस मंदिर में अर्जी लगाने के लिए भक्तों को नारियल को लाल रंग के कपडे से बाधकर उसे मंदिर धाम परिसर में छोड़ना होता है।
बागेश्वर धाम में अर्जी कैसे लगाए?
- बागेश्वर धाम में अर्जी नारियल को लाल, पीले, काले रंग के कपड़े में लगाकर की जाती है।
- अलग-अलग रंग के कपड़ों में नारियल बाधने का महत्व भक्तों को उसके समस्या के अनुसार है।
- मान्यता है की अगर आपकी समस्या सामान्य है, तो आपको नारियल को लाल रंग के कपड़े में बाध कर अर्जी लगानी है।
- इसके आलवा अगर व्यक्ति को शादी विवाह, परिवार, बच्चों की समस्या से जूझ रहा है, तो इसमे आपको पीले रंग के कपड़े में नारियल बाध कर अर्जी लगानी होती है।
- इसके आलवा अगर व्यक्ति को भूत प्रेत जैसे समस्या है तो उसे काले रंग के कपड़े में नारियल बाध कर अर्जी लगानी होती है।
- बागेश्वर धाम में अर्जी लगाने की ऑनलाइन सुविधा उपलब्ध नहीं है, जिनको भी बालाजी महराज से अर्जी लगानी हो और उन्हे यहाँ आकर ही लगानी पड़ती है।
- जो भक्त बालाजी जा कर अर्जी लगाने में सक्षम नहीं है वो घर पर एक नारियल को अपनी समस्या के अनुसार कपड़े से बाधकर उसमे पर्ची रखकर लगा सकते है।
- या फिर इसके आलवा व्यक्ति अपने किसी करीबी दोस्त, परिवार, रिस्तेदार को बालाजी भेज कर उनसे अर्जी लगवा सकते है।
बागेश्वर धाम सरकार | Bageshwar dham Sarkar
पंडित धीरेन्द्र शास्त्री को बागेश्वर धाम सरकार के नाम से जाना जाता है, यह श्री बालाजी महराज के अन्नय भक्त व भारत देश के एक युवा संत है। पंडित धीरेन्द्र शास्त्री बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर भी है। मान्यता है की इन पर श्री बालाजी के विशेष आशीर्वाद प्राप्त है, बालाजी इनसे सभी भक्तों की समस्या का समाधान कराते है।
- बागेश्वर धाम सरकार या पंडित धीरेन्द्र शास्त्री से मिलने व उनसे अपनी समस्याओ का निदान पाने के लिए समय-समय पर टोकन प्रणाली का सहारा लिया जाता है।
- टोकन डालने के लिया बागेश्वर धाम कमेटी द्वारा एक पेटी बागेश्वर धाम में रखी जाती है, जिसमे सभी इच्छुक भक्त अपना नाम, अपने शहर का नाम, अपने शहर का पिन कोड, मोबाईल नंबर लिखकर पेटी में डालना होता है।
- पेटी में डाली गई सभी पर्चियों में से कुछ पर्चियों को चुना जाता है व कमेटी के सदस्यों द्वारा पर्चियों में दिए गए नंबर पर संपर्क कर उन्हे टोकन दिया जाता है।
- इस टोकन प्रणाली से चुने गए व्यक्तियों को यह माना जाता है की श्री बालाजी ने स्वयं उन्हे उनकी समस्या का समाधान देने के लिए चुना है।
- टोकन कब, किस तारिख से मिलेगा इसकी सूचना विभिन चैनल व सोशल मीडिया व कथा में यह सूचना भक्तों तक पहुचा दी जाती है।
- टोकन प्राणली का सारा कार्य और उसका निर्धारण बागेश्वर धाम कमेटी करती है।
कैसे पता करे की अर्जी लगी या नहीं?
मान्यता है की जिस भी भक्त की बालाजी में अर्जी लग जाती है, उसे लगातार 2 दिनों तक स्वप्न मे बंदर दिखाई देते है। परंतु अगर सिर्फ एक दिन ही स्वप्न में बंदर दिखाई देते है तो इसका तात्पर्य यह की आपकी अर्जी बालाजी महराज के पास पहुचने वाली है।
परंतु अगर एक दिन भी आपको स्वप्न में बंदर नहीं दिखाई देते है, तो आपको लगातार 1 सप्ताह तक बालाजी महराज से प्रार्थना व पूजा करे, आपकी अर्जी अवश्य सुनी जाएगी।
बागेश्वर धाम बाबा जी | Bageshwar dham Baba
श्री बागेश्वर धाम बाबा जी का नाम पंडित धीरेन्द्र शास्त्री है, जो की एक युवा संत व बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर भी है। बागेश्वर धाम बाबा जी स्वयं को बालाजी महाराज का भक्त बताते है।
- मान्यता है यह भक्तों का मन पढ़ लेते है, और उनके बताने से पहले उसका उनका पर्चा बना देते है।
- पंडित धीरेन्द्र शास्त्री का जन्म 4 जुलाई 1996 को छतरपुर के गढा नामक ग्राम एक ब्राह्मण परिवार में हुआ था।
- बाल्यकाल में इनके सभी प्रिय धीरु नाम से पुकारते थे।
- इनके माता पिता निर्धन थे, इसीलिए उनकी माता गाँव में दूध बेचती थी और पिता यजमानी का कार्य कर घर चलाते थे।
- मान्यता है की इनको धार्मिक ज्ञान अपने दादा भगवानदास गर्ग से मिली है। तथा इनके दादा भगवान दास निर्मोही अखाड़े से भी जुड़े थे।
- प्रारभ में कथा की शुरुआत उन्होंने अपने गाव से की थी और पहली बार उन्होंने कथा वर्ष 2007 में कथा सुनाई थी।
- शुरुआत में कथा वाचन में उन्होंने शिव मंदिर को आश्रय बनाया, तथा आस पास के सभी जगहों पर प्रसिद्ध होने लगे।
- इसके बाद वर्ष 2016 में इन्होंने सभी ग्राम वालों की सहायता से एक बहुत बड़े यज्ञ को करवाया व इसके साथ बालाजी महाराज की मूर्ति भी स्थापित की गई।
- तत्पश्चात यह बागेश्वर धाम सरकार नाम से प्रसिद्ध हो गए।
बागेश्वर धाम कथा | Bageshwar dham katha
बागेश्वर धाम सरकार द्वारा विभिन शहरों में जगह-जगह जाकर कथाओ का वाचन किया जाता है, व इसके लिए 1 लाख से 2 लाख रुपये व्यक्ति को कथा कराने के लिए चुकाने पड़ते है।
बाबा बागेश्वर धाम द्वारा निम्न कथाओ का वाचन किया जाता है – राम कथा, हनुमंत कथा, श्रीमद भागवत कथा, भक्त माल कथा।
पंडित धीरेन्द्र शास्त्री जहा पर कथा वचन करने जाते है वहाँ पर लगभग 2 सप्ताह या 15 से 16 दिन तक कथा वाचन करते है।