सूर्यग्रहण होते समय चंद्रमा सूर्य और पृथ्वी के बीच आ जाता है, और सूर्य का प्रकाश पृथ्वी पर नहीं पड़ता है। इस समय चंद्रमा सूर्य के प्रकाश को आधा या पूरा ढक लेता है। जब चंद्रमा सूर्य के प्रकाश को पूरी तरह से ढक लेता है, तो उसे “पूर्ण सूर्यग्रहण” कहा जाता है, और जब वह केवल आधा ही ढक लेता है, तो उसे “अर्धग्रहण” कहा जाता है।
- सूर्यग्रहण हमेशा अमावस्या के दिन ही होता है,
- पौराणिक मान्यता है, की राहू और केतु समुन्द्र मंथन के दौरान से सूर्य के दुश्मन है
- क्यू की सूर्य और चंद्र देव ने अमृत बटवारे में इन दोनो असुरों को अमृत न देने का निर्णय लिए था।
- लेकिन छल से राहू और केतु अमृत पान कर लिया था।
- जिसके बाद भगवान विष्णु ने उनका सिर काट दिया।
- इसके बाद से ही सूर्यग्रहण के समय राहू और केतु अपनी शक्तियों से सूर्य की किरणों को ढक देते हैं।
- जिससे नकारात्मक ऊर्जा की वृद्धि होती है। इसलिए, सूर्यग्रहण के समय विशेष ध्यान और सावधानी की आवश्यकता होती है, जैसे की यात्रा न करना और सूर्य को ना देखना, आदि।
सूर्यग्रहण 2024 | Surya Grahan 2024
2024 में 2 बार सूर्यग्रहण होने वाले हैं। पहला सूर्यग्रहण 8 अप्रैल 2024 को होगा, और दूसरा सूर्यग्रहण 2 अक्टूबर 2024 को होगा।
सूर्यग्रहण 2024 समय | Surya Grahan 2024 Timing
- 8 अप्रैल को लगने वाला सूर्यग्रहण रात्रि 09:12 मिनट पर शुरू होगा।
- 2 अक्टूबर को पड़ने वाला सूर्यग्रहण रात्रि को 09:13 मिनट पर लगेगा।
सूर्यग्रहण के दौरान इन बातों का रखे ध्यान
- मंदिर के कपाट को बंद कर देना चाहिए और किसी भी मूर्ति को छूना नहीं चाहिए।
- मान्यता है की सूर्यग्रहण के दौरान खाना बनाना और खाना नहीं चाहिए, क्यों की राहू की दशा से खाना दूषित हो जाता है
- ग्रहण के दौरान सूर्य को नंगी आखो से नहीं देख्नना चाहिए।
- किसी भी शुभ कार्य की शुरुआत नहीं करनी चाहिए।
- ग्रहण के दौरान किसी भी व्यक्ति को यात्रा नही करना कहिए यह असुभ माना जाता है।
- इसके आलवा किसी भी गर्भवती महिला को घर से बाहर नहीं निकालना चाहिए।
- किसी भी नुकूली और कैंची आदि का प्रयोग नहीं करना चाहिए।
- ग्रहण के समय सभी को सोना भी नहीं चाहिए।
- इस समय बालों में तेल, नाखून काटना आदि कार्यों को नहीं करना चाहिए।